सारंगढ़

बी.एम.ओ डॉ.सिदार निजी क्लीनिक को बना रखे है पैसा कमाने की जरिया, सारंगढ़ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की स्थिति दैनीय,सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को छोड़कर रहते है निजी क्लीनिक पर!

बीएमओ डॉ सिदार को रहने के लिए सरकारी निवास जारी हुआ है वही सरकारी निवास में क्लिनिक को बिना ख़ौफ़ के चला रहे है आपको बता दें दरअसल बीएमओ डॉ सिदार 2 अस्सिटेंस भी हुए रखे है जिसकी बदावलत क्लीनिक अच्छी कमाई कर लेता है,बीएमओ डॉ.सिदार के क्लीनिक और हॉस्पिटल की दूरी 2 मिनट में तय किया जा सकता है इसी का नाजायज फायदा उठाते हुए क्लीनिक संचालित कर खूब कमाई करने में लगे हुए है आपको बता दे बीएमओ डॉ सिदार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में इलाज न करके अपने निजी क्लीनिक के लिए एक फीस निर्धारित भी किये है जिससे वही मरीज का स्वास्थ्य केंद्र में इलाज किया जाएगा तो फीस नही देना पड़ेगा, इस लिए उसी मरीज का इलाज अपने निजी क्लीनिक पर इलाज कर फीस ले सके। अब आप ही बताइए कि उसी मरीज का इलाज सामुदायिक स्वास्थ्य के में किया जाता तो फीस नही देना पड़ता और एक मरीज का इलाज भी अच्छा से किया जा सकता है। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र सारंगढ़ का स्थिति देख कर भी हैरान लगता है कि एक सरकारी हॉस्पिटल का हाल बदहाल है जिसके लिए सरकार लाखों रुपये खर्च कर रहा है आज उस हॉस्पिटल का हाल बदहाल है जहाँ कई बड़े एम बी.बी.एस डॉ व कर्मचारियों के रहते हुए भी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सारंगढ़ की आज बत्तर हो गई है निजी क्लीनिक चलाने वाले बीएमओ डॉ सिदार के हॉस्पिटल अंदर घुसते ही आपको लगेगा कि इससे अच्छा तो घर की बातरूम की इस्मेल अच्छा रहता है डॉ सिदार इस स्थिति सामुदायिक केंद्र का हाल बना कर रखे है।

पत्रकारों द्वारा बीएमओ डॉ सिदार के सरकारी आवास एवं निजी क्लीनिक पहुँचने पर अस्सिटेंस घर के अंदर छुप कर लुका छुपी का खेल खेलते है,और पूछने पर आवाज आती है डॉ साहब तो घर पर नही है हॉस्पिटल में होंगे,मरीज इलाज करवाने जाते है उसको भी घर के अंदर ले जाते है लेकिन उन मरीजो का चप्पल से साफ जाहिर होता है कि घर अंदर इलाज चल रहा है डॉ साहब इतने चालक है कि कोई भी व्यक्ति को कुछ पूछने पर जवाब नही देना कह कर बोल देते है
डॉ साहब मसगुल होकर सरकारी आवास में निजी क्लीनिक में अस्सिटेंस रख कर उपचार करते है,मजाल है किसी भी आला अधिकारी बीएमओ डॉ सिदार को कुछ बोल दे,,सारँगढ़ समुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पूरी तरह से बदहाल स्थिति में है और जिम्मेदार अधिकारी निजी क्लीनिक में व्यस्त रहते है।।

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